छत्तीसगढ़ की जलवायु | Climate of Chhattisgarh

छत्तीसगढ़ भारत के मध्य स्थित है यहाँ उष्ण कटियबंधीय मानसूनी जलवायु पायी जाती है, कर्क रेखा प्रदेश के उत्तरी भाग बलरामपुर, सूरजपुर और कोरिया जिला से होकर गुजरती है। कर्क रेखा पर स्थित होने के कारण छत्तीसगढ़ एक गर्म प्रदेश है जहाँ मई का महीना सबसे ज्यादा गर्म होता है।

दिसम्बर – जनवरी ठंडे महीने होते है। यहाँ साल भर में औसतन वर्षा 1200 मिलीमीटर होती है। 94 प्रतिशत बारिश जून से अक्टूबर के मध्य मानसून से होती है। छत्तीसगढ़ में आमतौर पर सालभर में 60 से 80 दिन तक बारिश होती है।

छत्तीसगढ़ में ऋतुएँ

यहाँ मुख्य रूप से तीन ऋतुएं पाई जाती है:

ग्रीष्म ऋतु

  • छत्तीसगढ़ में ग्रीष्म ऋतुएं गर्म एवं शुष्क होती है .
  • 21 मार्च के उपरांत सूर्य की किरणे उत्तरी गोलार्थ में सीधी लम्बवत पड़ती है ,जिससे तापमान में वृद्धि हो जाती है .
  • यहाँ अप्रैल और मई में झुलसाने वाली गर्मी तथा जुलाई से अक्टूबर में बादलों के कारण उमस होती है .
  • मई का महिना में सबसे ज्यादा गर्मी होती है , अधिकतम तापमान चाम्पा और रायगढ़ में अंकित की जाती है .
  • सबसे ज्यादा गर्म स्थान चाम्पा है .

शीत ऋतु

  • यहाँ शीत ऋतुएं ठंडी एवं शुष्क होती है .
  • 21 सितम्बर के बाद सूर्य की स्थिति दक्षिणायन होने लगाती है, और सूर्य की किरणे तिरछी पड़ने लगाती है .
  • दिसम्बर और जनवरी में सर्वाधिक ठंडी पड़ती है 
  • पहाड़ी भागों में स्थित पेंड्रा, मैनपाट, जशपुर, न्यूनतम तापमान वाले क्षेत्र है, ऐसा समुन्द्रतल से अधिक ऊंचाई और वनाधिक्य के कारण है .

वर्षा ऋतु

  • छत्तीसगढ़ में वर्षा की प्रकृति मानसूनी है , वर्षा ऋतुएं गर्म एवं आर्द्र होती है .
  • 90 प्रतिशत वर्षा दक्षिण पश्चिम मानसूनी हवाओ के द्वारा होता है .
  • 21 जून को कर्क रेखा के समीप सूर्य की लम्बवत स्थिति होती है ,जिससे गर्मी और तापमान में वृध्दि होती है न्यून वायुदाब की स्थिति बनती है .
  • हिन्द महासगार के दक्षिणी भाग से मानसूनी हवाएं आकर्षित होती है और वर्षा होती है .
  • प्रदेश में औसत वर्षा लगभग 120-125 से. मी. होती है .
  • छत्तीसगढ़ में मैकल पर्वत श्रेणी के निकट न्यूनतम वर्षा होती है इसे वृष्टिछाया प्रदेश कहते है राजनंदगांव और कवर्धा जिला .
  • भानुप्रतापपुर, जशपुर तहसीलों में सर्वाधिक औसत वार्षिक वर्षा होती है .
  • जिलेवार सर्वाधिक वर्षा जशपुर में होती है 
  • सबसे कम वर्षा कवर्धा जिला में होती है .
  • नारायणपुर जिले के अबूझमाड़ प्रदेश का सर्वाधिक वर्षा वाला क्षेत्र है
वर्षा ऋतु ग्रीष्म ऋतुशीत ऋतु 
अवधि – 16 जून- 15 अक्टूबरअवधि – 16फरवरी – 15 जूनअवधि – 16अक्टूबर – 15 फरवरी
मानसून का आगमन – जून के मध्य मेंसर्वाधिक गर्म महीना – मईसर्वाधिक ठंडा महीना – दिसम्बर
औसत वर्षा (वार्षिक) – 1300-1325 mmसर्वाधिक गर्म स्थान –चांपासर्वाधिक ठंडा स्थान – पेंड्रा मैनपाठ (अंबिकापुर)
अधिकांश मानसूनी वर्षा –बंगाल की खाड़ी शाखा मेंसर्वाधिक औसत तापमान – रायगढ़ और जांजगीर जिला मेंन्यूनतम औसत तापमान –जशपुर नगर
न्यूनतम वर्षा वाले क्षेत्र – मैकल श्रेणी (कवर्धा)शीतकालीन वर्षा – पश्चिमी गर्त से

छत्तीसगढ़ की जलवायु की विशेषताएँ

  • छत्तीसगढ़ में मुख्य रूप से उष्ण कटिबंधीय मानसूनी जलवायु पायी जाती है।
  • छत्तीसगढ़ में जलवायु का फैलाव – उपाद्र महाद्वीप के द्वारा होता है
  • 23.30 उत्तरी अक्षांश (कर्क रेखा) प्रदेश के उत्तरी जिलों कोरिया ,सूरजपुर एवं बलरामपुर से होकर गुजरती है।
  • जबकि 82.30 पूर्वी देशांतर जो भारत की माध्य रेखा है, छत्तीसगढ़ से होकर गुजरती है।
  • छत्तीसगढ़ में मानसून का आगमन प्राय: – 10 – 15 जून के मध्य में होती है
  • कर्क रेखा गुजरने के कारण छत्तीसगढ़ में ग्रीष्म ऋतु में अधिक गर्म एवं शीत ऋतु में सामान्य ठंड होती है।
  • छत्तीसगढ़ में औसत वर्षा (वार्षिक) – 1300 -1325 मिलीमीटर होती है
  • छत्तीसगढ़ भू-आवेष्ठित राज्य है। इस कारण यहाँ की जलवाऊ महाद्वीपीय प्रकार की है।
  • छत्तीसगढ़ के सर्वाधिक वर्षा वाला क्षेत्र अर्थात छत्तीसगढ़ का चेरापूंजी – अबूझमाड़ है
  • छत्तीसगढ़ के न्यूनतम वर्षा वाला क्षेत्र – मेकल श्रेणी (कवर्धा जिले में )

यह भी पढ़ें: